मध्य भारत में 16 जिलों में एक साथ महिलाओं ने किया प्रदर्शन, भोपाल में राज्यपाल को सौंपा ज्ञापन
भोपाल / पश्चिम बंगाल के संदेशखाली में महिला उत्पीड़न के आरोपी तृणमूल कांग्रेस के नेता शेख शाहजहाँ और उसके गुर्गों द्वारा किए गए पैशाचिक और अमानवीय कृत्यों से समूचे देश में रोष व्याप्त है। इस घटनाक्रम से समाज उद्वेलित है। अमानवीय कृत्य के विरोध में 29 फरवरी को मध्यप्रदेश के 16 जिलों में जिला मुख्यालयों पर संदेशखाली के अपराधियों पर कठोर कार्यवाही की मांग को लेकर महिलाओं द्वारा राष्ट्रपति के नाम ज्ञापन सौंपा गया।
राजधानी भोपाल के न्यू मार्केट स्थित रौशनपुरा चौराहे पर बड़ी संख्या में महिलाओं ने एकत्र होकर घटना पर आक्रोश जताया। आरोपियों के विरोध में महिलाओं द्वारा रौशनपुरा चौराहे पर विरोध प्रदर्शन किया गया एवं अपराधियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की मांग की गई। जनजातीय समाज की महिलाओं पर जारी अत्याचार और उत्पीड़न के विरोध में पद्मश्री चित्रकार दुर्गाबाई ने इसे समाज पर कुठाराघात बताया। वहीं, शशि ठाकुर ने घटनाक्रम पर कहा कि यह शर्मनाक है कि एक महिला मुख्यमंत्री के राज्य में ही महिलाएं सुरक्षित नहीं हैं। उन्होंने शेख शाहजहाँ की गिरफ़्तारी को आवश्यक बताया तथा पीड़ित महिलाओं के साथ खड़े होने की बात कही उनके साथ ही समाज की कई अन्य प्रबुद्ध महिलाओं ने भी इस घटना की निंदा की।
महिलाओं के समूह ने हाथों में तख्तियां लेकर पैदल मार्च करते हुए राजभवन पहुंचा और माननीय राज्यपाल मंगूभाई पटेल को राष्ट्रपति के नाम ज्ञापन सौंपा। इस अवसर पर संदेशखाली में हुए महिला शोषण के विरुद्ध एक निंदा प्रस्ताव भी रखा गया।
उधर ग्वालियर में भी महिलाओं ने कलेक्ट्रेट पहुंचकर संदेश खाली की घटना के विरोध में ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन सौंपने वालों में मनीषा इंदापुरकर, प्रीति चौबे, मनीषा शर्मा, मीना सचान, सरिता पटेल, सरोज अग्रवाल, नीलम शुक्ला, निर्मला शुक्ला, पल्लविका चौधरी, अपर्णा शर्मा, दीपा चौहान, कल्पना परमार, मोनिका मिश्रा, मानवता साहू, ज्योति सगर, हेमलता राव, जिज्ञासा जादौन, मंदाकिनी शर्मा सहित राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के ग्वालियर विभाग संघचालक प्रहलाद सबनानी, लश्कर जिला संघचालक डॉ.सुनील पाठक, ग्वालियर जिला संघचालक राजेंद्र सिंह घुरैया समेत कई लोग शामिल थे।