लखनऊ /लखीमपुर खीरी घटना को लेकर यूपी में सियासी सरगर्मी बढ़ गई है। लखीमपुर खीरी किसानों से मिलने निकली प्रियंका गांधी ने पूरी रात यूपी पुलिस की नींद उड़ा दी। आखिरकार
सीतापुर पुलिस ने हरगांव में उन्हें सुबह 4 बजे गिरफ्तार कर लिया। वहीं समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव को हिंसाग्रस्त जिले जाने से रोक दिया गया जिसके विरोध में सपा मुखिया अपने समर्थकों के साथ धरने पर बैठ गए। कुछ देर बाद अखिलेश को पुलिस ने हिरासत में ले लिया। सपा के सैकड़ों समर्थकों और पुलिस के बीच जमकर नोकझोंक और धक्कामुक्की हुई। इस बीच गौतमपल्ली थाने के पास कुछ अराजक तत्वों ने एक पुलिस वाहन को आग के हवाले कर दिया।
यह है पूरी घटना:
घटनाक्रम के अनुसार रविवार को उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य जिले में थे। दोपहर में उनको केंद्रीय राज्यमंत्री अजय मिश्र टेनी के गांव बनवीरपुर जाना था। उप मुख्यमंत्री के आने के विरोध में सुबह से ही किसान उतर आए थे। तिकुनियां के महाराजा अग्रसेन इंटर कालेज में बनाए गए हेलीपैड पर किसानों ने ट्रैक्टर-ट्रालियां खड़ी कर दीं। सैकड़ों की संख्या में काले झंडे लेकर किसान वहां मौजूद थे और उप मुख्यमंत्री के विरोध का ऐलान कर रहे थे।
इसी बीच अचानक बनवीरपुर की ओर से बेहद तेज गति से आती दो कारें किसानों के बीच घुस गईं। उनको रौंदती हुई चली गई। इसमें एक कार में केंद्रीय राज्यमंत्री के बेटे आशीष मिश्र मोनू के सवार होने का दावा किसान यूनियन ने किया है हालांकि हालांकि केंद्रीय मंत्री की ओर से इससे इंकार किया गया है। हादसे में 12 से ज्यादा किसान जख्मी हो गए। इसके बाद आक्रोशित भीड़ ने हादसा करने वाली गाड़ियों में तोड़-फोड़कर आग लगा दी। कार में जो भाजपाई मिला, उसको पीटा। इसके बाद भगदड़ मच गई।
किसानों का आक्रोश देखकर पुलिस भी मैदान छोड़कर भाग खड़ी हुई। घटना में कई पत्रकार भी गंभीर जख्मी हो गए। बवाल के बाद पुलिस ने तिकुनिया से पहले ही बैरीकेडिंग लगाकर रोक दिया। अफवाहों का बाजार गर्म हो गया। दर्जनों किसानों और भाजपा कार्यकर्ताओं की मौत की चर्चा होने लगी। देर रात केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्र ने अपने ड्राइवर सहित चार भाजपा कार्यकर्ताओं की मौत का दावा किया। कुछ देर पर जिलाधिकारी अरविन्द चौरसिया ने कार दुर्घटना में चार लोगों के मरने की बात कही। लेकिन उन्होंने यह स्पष्ट नहीं किया कि मरने वाले चारों लोग किसान हैं या कोई और। न ही उन्होंने कुल मृतकों की संख्या के बारे में साफतौर पर कुछ कहा।