प्रवीण दुबे
पारा आज 42 और कल 43 डिग्री तक पहुंचने का अनुमान
मतदान कर्मियों का स्वास्थ्य ठीक रखना और मतदान के लिए मतदाताओं को घर से बाहर निकालना बनी बड़ी चुनौती
प्रातः 5 बजे से हॉट जॉन बना एमएलबी कॉलेज और कटोरा ताल मार्ग कड़ी सुरक्षा के बीच खोले गए स्ट्रांग रूम, मतदान दलों के रवाना होने का सिलसिला शुरू
एक तरफ 7 मई को ग्वालियर अंचल की भिंड मुरैना और ग्वालियर लोकसभा सीटों पर मतदान कराने पोलिंग पार्टियां सुबह होने से पूर्व ही स्ट्रांग रूम स्थल से मतदान सामग्री लेकर रवाना होना शुरू हो गई हैं। दूसरी और विकराल होती गर्मी ने इलेक्शन कमीशन सहित राजनीतिक दलों की चिंता बढ़ा दी है। बीते रोज की तरह आज भी सुबह से ही सूरज ने आग उगलना शुरू कर दिया है और आज तापमान 42 डिग्री रहने की संभावना है। मतदान दिवस अर्थात कल तापमान 43 डिग्री तक पहुंचने का अनुमान व्यक्त किया गया है। ऐसी स्थिति में मतदान कराने निकली पोलिंग पार्टियों के स्वास्थ्य को ठीक रखना बड़ी चुनौती बना हुआ है वहीं सबसे बड़ी चुनौती मतदाताओं के घर से निकलकर वोट डालने की भी है। यदि गर्मी के कारण मतदाता वोट डालने नहीं निकले तो मतदान प्रतिशत गिरने की चिंता मुंह बाए खड़ी है।
मई का पहला सप्ताह है और इसी के साथ गर्मी भी अपने चरम पर पहुंच रही है. रविवार का दिन काफी तपिश भरा रहा और ग्वालियर अंचल ही नहीं देशभर में लोगों को चिलचिलाती गर्मी झेलनी पड़ी और अधिकतम तापमान में बड़ी बढ़ोतरी दर्ज की गई. तेलंगाना, रायलसीमा, विदर्भ, उत्तरी कर्नाटक और उत्तरी मध्य प्रदेश के कुछ हिस्सों में तापमान 44-45 डिग्री सेल्सियस के बीच दर्ज किया गया. गर्मी में यह वृद्धि इन क्षेत्रों के अलग-अलग हिस्सों में देखी गई. ग्वालियर में तापमान 42 डिग्री रिकॉर्ड किया गया।
देश में गर्मी अब गंभीर स्तर पर
इसके अलावा, मराठवाड़ा, दक्षिण-पूर्व उत्तर प्रदेश, उत्तर-पूर्व मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, उत्तरी ओडिशा, गंगा के तटवर्ती पश्चिम बंगाल, झारखंड, तमिलनाडु और तटीय आंध्र प्रदेश के कुछ हिस्सों में गर्मी की यही स्थिति रही. यहां, अधिकतम तापमान 42-44 डिग्री सेल्सियस के बीच रहा और यह तापमान का यह आंकड़ा बताता है कि, देश में गर्मी अब गंभीर स्तर पर है.
स्वास्थ्य और खेती दोनों के लिए बुरा असर
भारतीय मौसम विभाग ने बताया कि ये आंकड़े सिर्फ औसत से ऊपर नहीं थे, बल्कि काफी अधिक हैं. गंगीय पश्चिम बंगाल के कुछ हिस्सों में, रिकॉर्ड किया गया तापमान सामान्य सीमा से 4-7 डिग्री सेल्सियस तक ऊपर था. इतने बढ़े तापमान के कारण मानव स्वास्थ्य और खेती-फसलों की उत्पादकता दोनों पर हानिकारक असर पड़ने का अनुमान है. इसी तरह, उत्तर प्रदेश, ओडिशा, तेलंगाना, रायलसीमा, तमिलनाडु के प्रमुख क्षेत्रों में तापमान सामान्य से 2-5 डिग्री सेल्सियस अधिक दर्ज किया गया. यहां तक कि केरल और माहे, आंतरिक कर्नाटक, छत्तीसगढ़, बिहार और झारखंड के अलग-अलग हिस्सों में भी, गर्मी असहनीय रही. यहां भी तापमान सामान्य से 2-5 डिग्री सेल्सियस अधिक रहा.
उधर चिलचिलाती धूप में मतदान कराने निकले मतदान कर्मियों का स्वास्थ्य खराब न हो इसलिए उन्हें दवाओं सहित पानी व अन्य जरूरी चीजों की विशेष किट भी प्रदान की गई है इतना ही नहीं मेडीकल टीम को भी एलर्ट पर रखा गया है।